बाड़मेर - बाडमेर नगरे प. पूज्य गुरुदेव खरतरगच्छाधिपति आचार्य श्री जिनमणिप्रभसूरीश्वरजी म.सा. आदि ठाणा 6 की पावन निश्रा में तथा पूजनीया बहिन म. डॉ. श्री विद्युत्प्रभाश्रीजी म. सा. आदि ठाणा 9 के पावन सानिध्य में शनिवार केयुप, ज्ञान वाटिका व केएमपी के राष्ट्रीय अधिवेशन के तीन दिवसीय कार्यक्रम दि. 13,14,15 के दौरान प्रथम दिन केयुप का नवमां राष्ट्रीय अधिवेशन सम्पन्न हुआ। प्रातः 07.०० बजे केयुप भवन परिसर मन्दिर में स्नान्त्र पूजा का आयोजन किया। प्रातः ०१.०० बजे पुलिस वैण्ड की धुन के साथ पूज्यश्री का सुधर्मा प्रवचन वाटिका में प्रवेश हुआ। गुरुदेवश्री को सामूहिक गुरुवन्दन व मांगलिक के साथ कार्यक्रम का शुभारम्भहुआ। परमात्मा के समक्ष अतिथियों द्वारा दीप प्रज्जवलन व ध्वजारोहण किया।

सर्वप्रथम केयुप राष्ट्रीय चेयरमेन सुरेश भंसाली रायपुर, केयुप शाखा बाड़मेर अध्यक्ष प्रकाश पारख द्वारा बाहर से पधारे हुए सभी केयुप शाखाओं का स्वागत व अभिनन्दन किया। केयुप केन्द्रिय समिति अध्यक्ष सुरेश लूणिया द्वारा सम्पूर्ण भारतवर्ष में केयुप शाखा द्वारा किए गए कार्यों की जानकारी देते हुए एवं आगामी योजनाओं के बारे में अवगत करवाया। रमेश लूंकड़ द्वारा शाखाओं द्वारा विशेष कार्यों की अनुमोदना की गयी। पूज्य गुरुदेवश्री अपने उद्बोधन में कहा कि युवा जब जागृत व एकत्र होते है तब दुनिया बदल जाती है। मुनि श्री मधुरप्रभसागरजी म.सा. ने कहा कि गुरुदेवश्री ने युवाओं को एक ही मंच से जोड़कर, केयुप के युवाओं को पुरे हिन्दुस्तान में एकता के सूत्र में बांधकर रखा है। पू. बहिन म.सा. साध्वी डॉ. विद्युत्प्रभाश्रीजी म.सा ने सम्बोधित करते हुआ कहा कि जिस केयुप के दस वर्ष पूर्व गुरुदेवश्री ने स्थापना की थी वो केयुप आज साधु-साध्वी, आवक-श्राविकाओं को अपनी अमूल्य सेवाएं दे रहा है जो अनुमोदनीय है। तत् पश्चात् उत्कृष्ट कार्य करने वाली शाखाओं में प्रथम स्थान बाड़मेर, द्वितीय स्थान पर अहमदाबाद व बीकानेर, तृतीय स्थान पर रायपुर, हैदराबाद व अक्कलकुवां शाखा का अभिनन्दन किया गया। गुरु भक्त परिवार टीपूदेवी भूरमल बोथरा द्वारा गुरुदेवश्री को माताजी म.सा की रजत प्रतिमा भेंट दी गई। कार्यक्रम के अंत में चातुर्मास कमेटी अध्यक्ष अशोक धारीवाल द्वारा अधिवेशन में बाहर से पधारे हुए केयुप शाखाओं का धन्यवाद व आभार ज्ञापित किया। केयुप के राष्ट्रीय चेयरमेन सुरेश भंसाली व केयुप अध्यक्ष प्रकाश पारख ने बताया कि केयुप के नवमें अधिवेशन में सम्पूर्ण देशभर से 50 से अधिक शाखाओं से 600 से अधिक प्रतिनिधि एवम सदस्यों ने भाग लिया। परिषदों के उददेशयों में साधु-साध्वी के विहार को सुगम बनाना, अधिक से अधिक स्वाध्यायी तैयार करना, ज्ञान वाटिका के माध्यम से बच्चों में धर्म संस्कारों का बीजारोपण करना, गच्छ की युवा शक्ति को संगठित कर एक मजबूत संगठन का निर्माण करना आदि प्रमुख है। कार्यक्रम का सफल संचालन केयुप के राष्ट्रीय महामंत्री वीर पिता रमेश लूंकड़ ने किया।